- कई प्रकार के जतन कर हारे सचिव संध नही बनी बात
- हड़ताल लम्बा चलने के कारण सचिव भी असमज्स की स्थिती में
- मांगे मानने से नही पड़ेगा अधिक आर्थिक बोझ – बिहारी लाल साहू अध्यक्ष सचिव संध रामानुजनगर
- हड़ताल स्थल पर नहीं हैं चिकित्सीय सुविधा
सूरजपुर,27 अप्रैल 2023 (घटती-घटना)। अपनी एक सूत्रीय मांग शासकीयकरण को लेकर विगत 1 माह से धरने पर बैठे सचिवों के द्वारा क्षेत्र के विधायक आदि को ज्ञापन सौपने के बाद भी प्रदेश सरकार के द्वारा उचित पहल नही करने के कारण विगत 24 मार्च से सचिव संध के द्वारा पूरे प्रदेष मे क्रमिक भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं। क्रमिक भूख हड़ताल में जनपद पंचायत क्षेत्र के सचिवों मे निर्णय लिया हैं कि वे सभी सचिव पॉच-पॉच की संख्या में निरंतर हड़ताल जारी रखेगें। जहॉ एक ओर सचिवों के हड़ताल पर चले जाने के कारण जनपद पंचायत कार्यालय मे भी एक प्रकार से विरानी आ गई हैं क्योंकि विभाग के द्वारा चाही गई जानकारी समय पर उपलध नही हो पा रहा हैं विभाग के द्वारा रोजगार सहायक आदि को कुछ जिम्मेदारी देकर विभाग का कार्य कराये जाने का प्रयास किया जा रहा हैं।
प्रदेषव्यापी आहवान पर सचिवो के द्वारा अपनी मांगों को लेकर ष्षासन से आर पार की लड़ाई लड़ने के मूड मे दिखाई दे रहे हैं , इसके लिए संध के द्वारा आंदोलन कीे चरणबद्व रूप से रणनीति बना कर तैयार किया गया हैं।
इस संबंध मे सचिव संघ के अध्यक्ष से पुछने पर उनके द्वारा कहा गया कि सचिवों की शासकीयकरण करने से सरकार के उपर बहुत अधिक आर्थिक भार नही पड़ने वाला हैं सरकार को अपनी इच्छा शक्ति और वादा के अनुरूप घोषणा करना हैं किन्तु सरकार बार-बार हमारी मांगो को अनदेखी करती आ रही हैं जिस कारण हमारा यह आंदोलन यदि सरकार मांगों को नही मानती हैं तो विधान सभा चुनाव तक आंदोलन जारी रहेगा और हमारी मांगों को नही मानती हैं तो संध के द्वारा मुख्यमंत्री आवास मे आत्मदाह करने के बाद ही हड़ताल समाप्त होगा।
क्रमिक भूख हड़ताल पर बैठे सचिवों के धरना स्थल पर चिकित्सीय सुधिवा उपलध नही होने के कारण हड़ताल पर बैठे सचिवों को कहना हैं कि अभी मौसम के उतार – चढ़ाव होने के कारण कभी – कभी भूख हड़ताल पर बैठे सचिवों की स्थिती ठीक नहीं रहता हैं फिर भी सचिवों के द्वारा अपने संघ से किये गये वादा अनुसार अपनी परवाह किये बिना भूख हड़ताल को जारी रख रहे हैं। यदि यहॉ पर चिकित्सीय सुविधा उपलध हो जाता तो अधिक अच्छा होता। अब देखना हैं कि क्या स्वास्थ्य विभाग धरना स्थल पर चिकित्सीय सुविधा उपलध कराता हैं या नही ?