गुवाहाटी, 02 जुलाई 2022। असम मे बाढ़ के कारण गभीर हालात है। इसके कारण राज्य भर मे तबाही की स्थिति है। बाढ़ से असम के 30 जिलो मे 29 लाख से अधिक लोग प्रभावित है। स्थानीय लोगो का कहना है कि उनके घर जलमग्न हो गए है, फसले डूब गई है। महीनो से वो सो नही पाए है । बीते 24 घटो मे आठ और लोगो की मौत हो गई।
बाढ़ से प्रभावित हुए 29लाख से अधिक लोग
29 लाख से अधिक लोग अब भी बाढ़ से प्रभावित है। असम राज्य आपदा प्रबधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) द्वारा जारी एक बुलेटिन के अनुसार, इस साल बाढ़ और भूस्खलन के कारण मरने वालो की सख्या बढ़कर 159 हो गई, जबकि एक व्यक्ति के लापता होने की सूचना मिली है, जिससे लापता लोगो की कुल सख्या 36 हो गई। केद्रीय गृह मत्रालय की एक अतर-मत्रालयी केद्रीय टीम (आईएमसीटी) राज्य मे है।
आईएमसीटी की एक टीम कछार, हैलाकाडी और करीमगज और दूसरा समूह नलबाड़ी, बजली, कामरूप और मोरीगाव मे बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने वाला है। मुख्यमत्री हेमत विश्व शर्मा पिछले दस दिनो मे बराक घाटी का तीसरी बार दौरा किया और वहा की स्थिति की समीक्षा करने के लिए करीमगज पहुचे। उन्होने जिले के सुभाष हाई स्कूल कालीबाड़ी और गोपिकानगर मे राहत शिविर का दौरा किया। मुख्यमत्री ने इससे पहले दो बार सिलचर का दौरा किया और जलमग्न शहर का हवाई सर्वेक्षण किया।
राहत कार्य जारी
मेहरपुर, विवेकानद रोड, दास कॉलोनी, अबिकापट्टी, चर्च रोड, चादीचरण रोड, बिलपर, पçलक स्कूल रोड, सुभाष नगर और एनएस एवेन्यू सहित सिलचर के कई हिस्से बाढ़ के पानी मे डूबे हुए है। उपायुक्त कीर्ति जल्ली ने कहा कि बेथुकुडी मे टूटे बाध के क्षतिग्रस्त हिस्से की मरम्मत का काम जारी है। बाध टूटने की वजह से शहर मे जलभराव हो गया। उन्होने कहा कि कछार जिले के कटिगोरा राजस्व मडल के बड़जुरी मे क्षतिग्रस्त बाध की मरम्मत का भी काम चल रहा है। उन्होने कहा कि प्रभावित लोगो तक पेयजल और भोजन पहुचाने को प्राथमिकता दी जा रही है, जबकि स्वास्थ्य विभाग द्वारा नगर निगम के सभी 28 वार्डो मे जल जनित बीमारियो की रोकथाम सुनिश्चित करने के लिए चिकित्सा शिविर लगाए जा रहे है।
2,608 गाव बाढ़ से प्रभावित
इस बीच, राज्य भर मे 75 राजस्व मडलो के तहत 2,608 गाव बाढ़ से प्रभावित हुए है, जबकि बुलेटिन के अनुसार, 3,05,565 लोगो ने 551 राहत शिविरो मे शरण ली है। अस्थायी केद्रो मे आश्रय नही लेने वाले बाढ़ प्रभावित लोगो के बीच 355 आपूर्ति केद्रो से राहत सामग्री वितरित की गई। सबसे बुरी तरह प्रभावित जिलो मे कछार जिले मे 14,31,652 लोग प्रभावित है, इसके बाद नागाव मे 5,19,463 लोग और बारपेटा मे 4,00,502 लोग प्रभावित है। बिश्वनाथ और उदलगुरी मे दो तटबध भी टूट गए है जबकि 221 सड़के, पाच पुल और 557 मकान बाढ़ के कारण क्षतिग्रस्त हो गए है। 76,115 हेक्टेयर कृषि क्षेत्र जलमग्न है, जबकि 51 जानवर बह गए है। बुलेटिन मे कहा गया है कि बिश्वनाथ, बोगाईगाव, चिराग, धेमाजी, धुबरी, डिब्रूगढ़, कामरूप, कोकराझार, लखीमपुर, मोरीगाव, सोनितपुर, तामुलपुर और तिनसुकिया से भी बड़े पैमाने पर कटाव की खबरे है।
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