प्रतापपुर @क्षेत्र में हाथियों का आतंक जारी,फिर एक ग्रामीण महिला को कुचला,अलग अलग क्षेत्र में दो दल कर रहे हैं विचरण

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वन अधिकारी क्षेत्र का दौरा कर दे रहे समझाइश

प्रतापपुर (सूरजपुर),12 मई 2024 (घटती-घटना)। क्षेत्र में लंबे समय से सक्रिय जंगली हाथियों द्वारा बरपाया जा रहा कहर वन विभाग की लाख कोशिशों के बावजूद थमने का नाम नहीं ले रहा है। हाथी लगातार जंगल से सटे ग्रामीण इलाकों में प्रवेश कर ग्रामीणों को मौत के घाट उतारने के साथ ही उनकी फसलों को भी चौपट करने में लगे हुए हैं। शनिवार को फिर एक ग्रामीण महिला को जंगली हाथी की चपेट में आ जाने के कारण अपनी जान गंवानी पड़ी।
जानकारी के अनुसार शनिवार की रात तीन हाथियों का दल वन परिक्षेत्र राजपुर के वनक्षेत्र खोड़निया में विचरण कर रहा था। चुंकि यह क्षेत्र वन परिक्षेत्र प्रतापपुर के वनक्षेत्र खड़गवां कला से लगा हुआ है इसलिए वन विभाग प्रतापपुर के हाथी मित्र दल व वन कर्मियों द्वारा मुनादी कर लगातार हाथियों के विचरण की जानकारी आसपास के गांवों में देते हुए ग्रामीणों को सावधान रहने की समझाइश दी जा रही थी। इसी बीच रात को 9ः30 बजे हाथियों का यह दल वनक्षेत्र खड़गवां कला के कक्ष क्रमांक पी 2558 में प्रवेश करते हुए रात 10ः30 पर जंगल से सटे झींगापारा पहुंचा। जहां एक ग्रामीण महिला के खेत में लगी गन्ने की फसल को खाया फिर पास में ही बने महिला के घर को तोड़ने लगे। तोड़फोड़ की आवाज सुनकर घर में अकेली सो रही महिला विरांची देवी पति स्व. ननका राम उम्र 65 वर्ष उठकर बाहर निकली तो सामने हाथियों का दल खड़ा था। इससे पहले कि महिला अपनी जान बचाने को कुछ कर पाती कि तभी दल के एक हाथी ने उसे सूंड़ में लपेटकर जमीन पर पटका और पैरों से कुचल दिया जिससे महिला की मौके पर ही मौत हो गई। मौके पर पहुंची वन विभाग की टीम महिला के शव को रात में ही सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र प्रतापपुर ले आई थी। जहां सुबह के समय मृतका के शव का पोस्टमार्टम कराकर उप वन मंडलाधिकारी आशुतोष भगत व प्रतापपुर रेंजर उाम मिश्रा ने स्वजनों को तात्कालिक सहायता राशि के रूप में 25 हजार रुपए नगद प्रदान कर शेष मुआवजा राशि का प्रकरण भी जल्द तैयार करने की बात कही।
क्षेत्र में विचरण कर रहे हाथियों से ग्रामीणों को सावधान रहने के लिए वन कर्मियों के साथ वन विभाग के अधिकारी भी ग्रामीणों को घर घर जाकर समझाइश दे रहे हैं। इस संबंध में उप वन मंडलाधिकारी आशुतोष भगत ने न?ईदुनिया को बताया कि महिला की जान लेने वाले तीन हाथियों का दल अभी खड़गवां के कक्ष क्रमांक पी 2557 व 2558 में विचरण कर रहा है। इसके अलावा वन परिक्षेत्र प्रतापपुर के ही वनक्षेत्र धरमपुर में भी पांच से लेकर छह हाथियों का एक अन्य दल भी सक्रिय है। इस दल में एक मखना हाथी भी शामिल है। फिलहाल यह दल वनक्षेत्र धरमपुर के कक्ष क्रमांक 20,21 में विचरण कर रहा है। उप वन मंडलाधिकारी भगत ने बताया कि इस पांच-छह हाथियों के दल की वनक्षेत्र धरमपुर के ग्राम भरदा, दलदली, सिंघरा, मदननगर, गणेशपुर सहित अन्य ग्रामों की ओर जाने की संभावना है। ग्रामीणों को घर घर जाकर व मुनादी के माध्यम से भी समझाइश देकर जंगल की ओर जाने से मना किया जा रहा है। हाथी मित्र दल व वन कर्मियों के द्वारा भी क्षेत्र में सक्रिय हाथियों के दोनों दलों पर लगातार नजर रखी जा रही है।


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