बैकुण्ठपुर@क्या झुमका जल महोत्सव के नाम पर फिर होगी जिले के ठेकेदारों से वसूली?

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-रवि सिंह-
बैकुण्ठपुर,12 जनवरी 2024 (घटती-घटना)। कोरिया जिले में झुमका को पर्यटन स्थल बनाने के लिए पिछली सरकार ने करोड़ों रुपए खर्च किए पर आज भी स्थिति झुमका पर्यटन स्थल की दयनीय है जिस खबर को कुछ दिन पहले भी दैनिक घटती घटना ने प्रकाशित करके प्रशासन के संज्ञान में स्थिति को लाने का प्रयास किया था पर प्रशासन ने इस ओर ध्यान नहीं दिया और अब फिर से दो दिवसीय झुमका पर्यटन स्थल पर झुमका जल महोत्सव का आयोजन करने की तैयारी है, वर्तमान सरकार को आए अभी एक महीने ही हुआ है और ऐसे में यह वृहद कार्यक्रम कैसे संपन्न होगा यह बड़ा सवाल है वही सामने लोकसभा चुनाव है जो भाजपा के लिए बड़ी चुनौती है, इस बीच इतने बड़े कार्यक्रम को संपन्न करने का जिम्मा जिला प्रशासन ने उठा रखा है पर क्या इसकी अनुमति वर्तमान सरकार या फिर स्थानीय विधायक से मिल चुकी है क्योंकि ऐसी भी बात सामने आ रही है कि इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए हर विभाग को यह कहा गया है कि अपने स्तर पर वसूली करके इस कार्यक्रम के लिए पैसे जुटाना आरंभ करें,राजस्व विभाग भू-माफियों से,खनिज क्रेशर व भट्टे संचालक से जुटाएगा महोत्सव के लिए राशि सूत्रों का ऐसा कहना है वहीं इस आयोजन में हर शासकीय विभाग को जिम्मेदारी मिलने वाली है और वह अपने स्तर पर खर्च जुटाएंगे। झुमका जल महोत्सव का यह दूसरा वर्ष होगा,झुमका जल महोत्सव का पहला वर्ष जिले में यादगार साबित हुआ था क्योंकि इस महोत्सव के दौरान ही सैकड़ों कुर्सियां तोड़ी गई थीं और जनप्रतिनिधियों सहित अधिकारियों ने इस महोत्सव में जमकर ठुमके लगाए थे वहीं कई अधिकारी कर्मचारी इस महोत्सव में अपनी उन प्रतिभाओं का प्रदर्शन कर पाए थे जिन्हे अन्य किसी मंच पर शायद ही सराहना मिलती लेकिन खुद के ही मंच पर सराहना मिलने की वजह से उन्होंने अपनी प्रस्तुति दी थी। झुमका जल महोत्सव वैसे संस्कृति विभाग के द्वारा मनाया जाना था लेकिन बताया जा रहा है की इसकी तैयारी जिले स्तर पर ही जिले के अधिकारी शुरू कर चुके हैं और इसका होना तय हो चुका है, इसके लिए सरकार से अनुमति ली गई की नहीं संस्कृति विभाग को सूचना दी गई की नहीं अभी इसका पता नहीं चल पाया है।
झुमका क्षेत्र में साफ सफाई का है आभाव,कई अन्य सुविधाओं की है क्षेत्र में दरकार
झुमका क्षेत्र में साफ सफाई का आभाव है,इस क्षेत्र में पिकनिक नहीं मनाए जाने की बात तय है फिर भी लोग यहां पिकनिक मनाते हैं और कूड़ा छोड़कर जाते हैं जिसकी सफाई करने वाला कोई नहीं हैं। पिछले दिनों इस आशय की खबर भी दैनिक घटती घटना में प्रकाशित की गई थी जिसके बाद भी किसी जिम्मेदार ने इस ओर ध्यान नहीं दिया था और अब उत्सव की तैयारी करने प्रशासन जुटा हुआ है। बता दें की यहां आने वालों को वाहन कर भी देना होता है बावजूद इसके सुविधा स्वक्षता के नाम पर क्षेत्र अभाव में है।
पिछले वर्ष के आयोजन में टूटी थीं कुर्सियां,कुर्सी तोड़ने वालों के परिजनों ने भरी थी कुर्सियों की लागत
झुमका जल महोत्सव का यह दूसरा वर्ष होगा,प्रथम वर्ष के आयोजन में झुमका जल महोत्सव के दौरान कार्यक्रम के दौरान उत्सव में टेंट वालों से मंगाई गई सैकड़ों कुर्सियां पीछे बैठे युवकों ने तोड़ दी थी और जिसके लिए उत्सव के दौरान की गई वीडियोग्राफी सहित गुप्तचरों का सहारा लिया गया था और कुर्सी तोड़ने वालों के परिजनों को पुलिस थाने बुलाकर कुर्सियों की लागत वसूली गई थी। कुर्सी तोड़ने वाले युवकों ने भी भीड़ में ऐसा करके यह समझा था की उन्हे कोई पहचानेगा नहीं लेकिन विडियो ग्राफी ने उनकी पोल खोल दी थी और उनके परिजनों को पुलिस थाने के चक्कर लगानी पड़ी थी।
जमकर हुई थी पिछले बार वसूली,इस बार भी क्या वसूली से ही संपन्न हो सकेगा उत्सव
सूत्रों की माने तो पिछले उत्सव के दौरान यह बात समाने आई थी की, झुमका जल महोत्सव के नाम पर जमकर वसूली हुई थी, यह वसूली ठेकेदारों से हुई थी ऐसा बताया गया था जो संबंधित विभाग के माध्यम से हुई थी, इस बार भी क्या वसूली के माध्यम से ही उत्सव होना तय है यह भी सवाल है क्योंकि इसको लेकर शासन से अनुमति ली गई है की नहीं यह स्पष्ट नहीं है।
आयोजन में होना वाला व्यय आखिर आयेगा कहां से जबकि कई भुगतान कई जरूरी काम बजट के अभाव में रुके हुए हैं…
झुमका उत्सव में बड़े बजट के व्यय होने का अनुमान है,यह बजट कहां से आयेगा भले ही इसकी तैयारी जिला प्रशासन ने कर ली है और वह वसूली के माध्यम से है ऐसे में यह सवाल उठता है की किसी ऐसे ही आयोजन के लिए जिला प्रशासन अर्थ जुगाड कर ले रहा है जबकि जरूरी काम के लिए वह आज भी बजट का इंतजार कर रहा है जबकि इस व्यर्थ खर्च की बजाए जरूरी काम भी निपटाए जा सकते थे।
झुमका महोत्सव को लेकर क्या कोई भी तिथि तय करना है जिला प्रशासन की जिम्मेदारी,एक निश्चित तिथि आखिर क्यों नहीं है तय महोत्सव के लिए
झुमका महोत्सव का दूसरा आयोजन जिले में होने जा रहा है,यह आयोजन इस बार 1,2 फरवरी को हो सकता है जबकि पिछले साल यह आयोजन 17,18 फरवरी के आसपास आयोजित था। झुमका महोत्सव का यदि आयोजन प्रतिवर्ष ही किया जाना है तो इसकी एक निश्चित तिथि क्यों तय नहीं है यह बड़ा सवाल है साथ ही सवाल यह भी है की प्रदेश में कई जिलों में कई महोत्सव होते रहते हैं और उसकी तिथि भी तय रहती है साथ ही उसके आयोजन को लेकर यह निश्चिाता रहती है की वह किस दिन होना है जैसे राजिम महोत्सव, तातापानी महोत्सव, मैनपाट महोत्सव और वह निश्चित तिथि पर ही संपन्न होती है जबकि झुमका महोत्सव का दूसरा ही वर्ष है और यह तय नहीं हो सका है की यह प्रतिवर्ष किस तिथि को मनाई जाएगी। वैसे बताया जा रहा है की जिला प्रशासन केवल उत्सव आयोजन करने के फेर में है उत्सव को लेकर उठ रहे सवालों से उसे कोई लेना देना नहीं क्योंकि यह मनमानी वाला उत्सव है जिसका दिन तिथि खुद जिला प्रशासन तय कर लेता है।
इस वर्ष भी दो दिवसीय झुमका जल महोत्सव का होगा आयोजन
पिछले वर्ष की भांति इस वर्ष भी दो दिवसीय झुमका जल महोत्सव होना तय हो चुका है,प्रशासनिक स्तर पर जिला प्रशासन इसकी तैयारी में जुट चुका है केवल अब किसके जिम्मे क्या काम आने वाला है यह स्पष्ट रूप से बाहर आना शेष है, वैसे जिम्मेदारी बांट दी गई है उसका सार्वजनिक घोषणा होना मात्र बाकी है। झुमका महोत्सव विगत वर्ष का जिलेवासियों के लिए आज भी यादगार है और उसका कारण केवल यह है की उस समय महोत्सव में नेताओं और अधिकारियों की प्रस्तुति देखी गई थी साथ ही कुर्सियां तोड़कर जो नाचा हुआ था वह आज भी लोगों के जेहन में है।
सांस्कृतिक व विभिन्न प्रतियोगिताओं के साक्षी बनेंगे कोरियावासी
झुमका जल महोत्सव के दौरान बताया जा रहा है की सांस्कृतिक कार्यक्रम सहित कई प्रतियोगिताओं के जिले वासी साक्षी बनेंगे। इस दौरान स्कूली छात्र छात्राओं सहित जिले की प्रतिभाओं को मंच दिया जायेगा जहां वह अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन कर सकेगे। वैसे पिछली बार अधिकारियों कर्मचारियों सहित नेताओं ने भी अपनी प्रतिभाओं का प्रदर्शन किया था और कुछ प्रदर्शनों को छोड़कर शेष को ज्यादा समर्थन नहीं मिला था।
विभिन्न विकास कार्यों का होगा लोकार्पण-भूमिपूजन
कोरिया जल महोत्सव के दौरान कई विकास कार्यों का लोकार्पण भी किया जायेगा जैसा बताया जा रहा है। जनप्रतिनिधियों के द्वारा यह लोकार्पण किया जायेगा। लोकार्पण जिले में वर्तमान सरकार की योजनाओं को बताने और उसे जन जन तक पहुंचाए जाने को लेकर किया जाएगा इस बताया जा रहा है।


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