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कोरिया @अमित एंड अमित कंपनी के किए गए निर्माण कार्यों की जांच क्या भाजपा सरकार में होगी?

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  • जहां इंजीनियर अमित वहां ठेकेदार अमित ने किया निर्माण कार्य…निर्माण की गुणवत्ता को लेकर आदिवासी विकास विभाग के अधिकारियों पर भी है सवाल?
  • जितने भी आदिवासी बालक बालिका छात्रावास बने वहां की जांच हो जाए तो भ्रष्टाचार की पोल खुल जाएगी।
  • ठेकेदार और इंजिनियर की भी पोल खुलने से नहीं किया जा सकता इंकार।
  • अमित इंजीनियर व अमित ठेकेदार की जुगल जोड़ी के चर्चे घटिया निर्माण को लेकर जोरों पर अब सत्ता बदलते ही जांच की उठ रही मांग।
  • एक टेंडर को पांच बार निकाला और पांच बार कैंसिल किया फिर इंजीनियर अमित ने विभागीय काम अमित ठेकेदार से कराया।

-रवि सिंह-

कोरिया 14 दिसम्बर 2023 (घटती-घटना)। कांग्रेस के राज में आदिवासी विकास विभाग कोरिया में खासकर कोरिया जिले में दो जुगल जोड़ी अमित चौधरी इंजीनियर व अमित विश्वास ठेकेदार काफी चर्चित जोड़ी रही और चर्चा भी किसी उम्दा कार्य के लिए नहीं बल्कि निर्माण कार्यों में भ्रष्टाचार को लेकर इनकी होती रही है, इनकी जुगल जोड़ी इसलिए भी मशहूर है क्योंकि जहां-जहां पर इंजीनियर अमित चौधरी हैं वहां वहां पर ठेकेदार अमित विश्वास ही निर्माण कार्य करेंगे ऐसा हम नहीं ऐसा लोग कहते हैं और ऐसा देखा भी गया है पूरे 5 सालों में, जनकपुर में लगभग कार्य ठेकेदार अमित विश्वास के विश्वास पर ही हुआ है पर इनके निर्माण पर कितना विश्वास किया जा सके यह जांच का विषय है कि इनका निर्माण कितना विश्वसनीय है? उनके नाम के आगे ही सिर्फ विश्वास है बाकी उनके काम पर लोगों को बिल्कुल भी विश्वास नहीं है जितने भी निर्माण कार्य में इन्होंने बिल्डिंग बनाई है सभी बिल्डिंग के गुणवत्ता को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं, वहीं पीएमजीएसवाई के इंजीनियर अपने आप को आदिवासी विकास विभाग में अटैच कराकर खूब निर्माण कार्य में दिलचस्पी दिखाते रहे हैं यहां तक की कहा जाए तो ठेकेदार के साथ उनकी पार्टनरशिप की भी चर्चाएं हैं कुछ टेंडर तो हुए पर टेंडर कैंसिल हुए और अंत में इंजीनियर अमित चौधरी ने स्वयं विभाग का काम बताकर ठेकेदार अमित विश्वास से काम करवाया है वह भी पार्टनरशिप में ऐसी जन चर्चा सुनी जाती रही है पांच सालों तक। आज अमित विश्वास का नाम इसलिए भी सुर्खियों में है क्योंकि यह ऐसे ठेकेदार हैं जो सत्ता के साथ जुड़ने में महारत रखते हैं। पहले यह भाजपा शासनकाल में काफी चर्चित थे और तब भाजपा के बैकुंठपुर विधायक और कैबिनेट मंत्री के करीबी बनकर यह ठेकेदारी करते थे उसके बाद जैसे ही सत्ता परिवर्तन हुआ यह पलटी मार गए और खुलेआम कांग्रेस नेताओं के करीबी हो गए यहां तक की यह कांग्रेस नेताओं के साथ कार्यक्रमों में भी पार्टी के नजर आने लगे थे पांच सालों तक।
ठेकेदार साहब भरतपुर सोनहत के कांग्रेस विधायक और कांग्रेस प्रत्याशी के पक्ष में खुलकर प्रचार करते नजर आए…हार के बाद तत्काल बदल पाला
जैसा बताया जा रहा है जो सच भी है की इस बार के चुनाव में यह भरतपुर सोनहत के कांग्रेस विधायक और कांग्रेस प्रत्याशी के पक्ष में खुलकर प्रचार करते नजर आ रहे थे और कांग्रेस की सत्ता की वापसी के पक्षधर थे इन्हें भरतपुर सोनहत विधानसभा के उन क्षेत्रों में जिम्मेदारी मिली हुई थी जहां इनका निर्माण कार्य जारी था और वहां जाकर यह काफी मेहनत भी कांग्रेस प्रत्याशी के लिए कर रहे थे लेकिन परिणाम भरतपुर सोनहत विधानसभा का भी कांग्रेस प्रत्याशी के विपरीत आया और वहीं कांग्रेस सत्ता से भी बेदखल हो गई। कांग्रेस सत्ता से बेदखल हुई वहीं भरतपुर सोनहत विधायक साथ ही कांग्रेस प्रत्याशी जैसे ही चुनाव हार गए, अमित विश्वास तत्काल पाला बदल लिए और वह भाजपाई हो गए उन्होंने तत्काल एक पोस्ट सोशल मिडिया में की और वर्तमान मुख्यमंत्री चुने गए विष्णु देव साय के साथ पुरानी खिंचाई गई फोटो उन्होंने सोशल मीडिया में पोस्ट कर दी और यह साबित करने में उन्होंने कहीं देर नहीं की वह भाजपा से जुड़े हुए हैं खासकर मुख्यमंत्री से सीधे सीधे। उनकी मुख्यमंत्री के साथ की तस्वीर सोशल मिडिया में पोस्ट किए जाने के पीछे की वजह यह मानी जाती है की वह स्थानीय विधायकों सहित स्थानीय नेताओं को यह जतलाना चाहते हैं की वह सीधे मुख्यमंत्री से खास हैं उन्हे अब निचले स्तर से कोई मतलब नहीं। खैर भले ही उन्होंने सत्ता परिवर्तन के बाद तत्काल पाला बदल लिया लेकिन अब उनके पांच सालों के दौरान किए गए निर्माण कार्यों की जांच की मांग की जा रही है और यह भाजपा के ही कुछ लोग कर रहे हैं जैसी सूचना मिल रही है क्योंकि भाजपा के ही कार्यकर्ता अब ऐसे लोगों को भाजपा में सामने नहीं देखना चाहते जो जिधर बम उधर हम वाली नीति अपनाते हैं और आर्थिक रूप से हमेशा आगे रहते हैं।
क्या भाजपा सरकार में अमित विश्वास ठेकेदार सहित अमित चौधरी इंजिनियर के कांग्रेस पार्टी के कार्यकाल के दौरान के निर्माण कार्यों की जांच होगी?
अमित विश्वास ठेकेदार सहित अमित चौधरी इंजिनियर की जोड़ी कोरिया जिले की मशहूर जोड़ी है। यह जोड़ी काफी लोकप्रिय इसलिए है क्योंकि यह एक दूसरे के साथ काफी सामंजस्य बनाकर काम करते हैं। यह जोड़ी कांग्रेस शासन काल में काफी निर्माण कार्य कर चुकी है और जिन निर्माण कार्यों की गुणवत्ता पर लगातार सवाल उठते रहे हैं। अब सवाल यह है की क्या इनके कांग्रेस शासनकाल में किए गए उन निर्माण कार्यों की जांच होगी जिनके गुणवत्ता पर सवाल उठ रहे हैं। गुणवत्ता को लेकर इस जोड़ी के निर्माण कार्यों की हमेशा चर्चा रही है। वैसे इस जोड़ी ने करोड़ों के काम किए हैं कांग्रेस शासन काल में और अब भाजपा का शासन है इसलिए इनके गुणवत्ता विहीन निर्माण कार्यों की जांच हो यह मांग उठ रही है।
भरतपुर सोनहत विधायक क्या लेंगी संज्ञान,ठेकेदार ने उनके विरुद्ध किया है कांग्रेस प्रत्याशी का प्रचार,क्या विधायक कराएंगी जांच
ठेकेदार अमित विश्वास भले ही नए मुख्यमंत्री के साथ सोशल मिडिया पर तस्वीर साझा कर सुर्खियां बटोर रहे हैं खुद को भाजपाई साबित कर रहे हैं लेकिन सच्चाई यह है की इन्होंने इस विधानसभा चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी भरतपुर सोनहत के लिए काफी मेहनत की है उन्हे जीत दिलाने के लिए। ठेकेदार का अधिकांश काम भी भरतपुर सोनहत विधानसभा क्षेत्र में चल रहा था यह भी वजह थी कांग्रेस प्रत्याशी के लिए उनकी मेहनत के पीछे,ठेकेदार को काम मिलने के पीछे कांग्रेस विधायक का भी सहयोग रहा करता था। अब देखना यह है की क्या भरतपुर सोनहत क्षेत्र की वर्तमान में निर्वाचित विधायक ठेकेदार के द्वारा किए गए गुणवत्ताविहीन निर्माण कार्यों की जांच कराती हैं या वह ठेकेदार के सोशल मिडिया पोस्ट से प्रभावित होती हैं जिसमे वह मुख्यमंत्री के साथ नजर आ रहे हैं। वैसे भरतपुर सोनहत से वर्तमान में निर्वाचित हुई भाजपा विधायक के चुनाव के दौरान किए गए वादों की बात करें तो वह जांच को लेकर जरूर कदम आगे बढ़ाएंगी यह तय नजर आ रहा है।
जांच होगी तो बड़े भ्रष्टाचार की खुलेगी पोल,सेटिंग से कैसे चल रही थी अमित एंड अमित कंपनी जानेंगे लोग
अमित विश्वास ठेकेदार साथ ही अमित चौधरी इंजिनियर के पांच सालों के दौरान के निर्माण कार्यों की जांच हुई तो बड़े भ्रष्टाचार की पोल खुल जाएगी,अमित विश्वास ठेकेदार साथ ही अमित चौधरी इंजिनियर कंपनी किस तरह शासकीय निर्माण कार्यों में भ्रष्टाचार कर रही थी किस तरह निर्माण कार्य हथिया रही थी यह लोग जान जाएंगे। अब देखना है जांच कैसे होती है कब होती है। वैसे बताया जाता है की कई काम बिना निविदा के भी अमित विश्वास को प्रदान किए गए थे जिसमे अमित चौधरी इंजिनियर का हांथ था संलिप्तता थी। निविदा रद्द कर कार्य को विभागीय घोषित कर अमित विश्वास को दिया जाता था और वह निर्माण कार्य बीना गुणवत्ता के किया करता था ऐसा बताया जाता है।
अमित एंड अमित कंपनी की तरह थी ठेकेदार इंजिनियर की जोड़ी
अमित चौधरी इंजिनियर साथ ही अमित विश्वास ठेकेदार की जोड़ी कंपनी की तरह काम करती थी। इसमें निर्माण कार्य का जिम्मा ठेकेदार का होता था और निर्माण कार्य प्रदान करने से लेकर उसे पूर्णता प्रमाण पत्र देने का जिम्मा इंजिनियर का होता था जो एक इकाई के रूप में काम करते थे।


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