- कांग्रेस की पहली सूची में बाबा नंबर 1 व कांग्रेस की तीसरी सूची में अंबिका सिंहदेव नंबर 1।
- भईयालाल के पास अपने हार का बदला लेने का मौका तो वही अपनी दूसरी जीत सुनिश्चित करने में जुट गई अंबिका सिंहदेव।
- भाजपा व कांग्रेस प्रत्याशियों के बीच होगी जबरदस्त टक्कर,भीतरघात होगा किस पार्टी में ज्यादा,यह भी है सवाल?
- 5 साल अपमानित महसूस करने वाले वरिष्ठ कांग्रेसी अगले 5 साल भी अपमानित होने को तैयार।
- संगठन से दूर चलने वाले व वरिष्ठ कांग्रेसियों को अपमान का मजा चखाने वाले विधायक को ही कांग्रेस ने दिया मौका।
- क्या अपमान के बावजूद कांग्रेसी सब कुछ भूल कर प्रत्याशी को जिताने उतरेंगे मैदान में?*
- क्या विधायक का खेमा बदल…टिकट तय कराने विधायक मुख्यमंत्री के खेमे में गईं?
- विजय की बधाई लिखकर समर्थक सोशल मीडिया पर कर रहे पोस्ट,मुख्यमंत्री के साथ की तस्वीर कर रहे साझा।
बैकुण्ठपुर 23 अक्टूबर 2023 (घटती-घटना)। छत्तीसगढ़ प्रदेश की सबसे हाई प्रोफाइल सीट बैकुंठपुर में कांग्रेस पार्टी की तरफ से खड़ा किया गया संशय खत्म हो गया, भाजपा ने पहले ही अपना प्रत्याशी इस सीट पर तय कर दिया था पर वही 22 अक्टूबर को देर शाम कांग्रेस ने भी अपना प्रत्याशी तय करते हुए दोबारा अंबिका सिंह देव पर दाव लगा दिया है, इसके बाद घटती घटना की समीक्षा पर भी मोहर लग गई है, घटती घटना में बड़ी प्रमुखता के साथ इसकी समीक्षा 21 अक्टूबर को प्रकाशित कर बता दिया था कि अंबिका सिंहदेव ही कांग्रेस से प्रत्याशी तय होंगी, अंततः दो दिन बाद सारे अटकलों पर विराम लगाते हुए घटती घटना की समीक्षा ही सही हुई और अंबिका सिंह देव बैकुंठपुर की दूसरी बार प्रत्याशी तय हुई। सूची आने से पहले ही अंबिका सिंहदेव के समर्थकों को अंदेशा हो गया था कि उन्ही का टिकट फाइनल है जिसे लेकर वह सोशल मीडिया पर पोस्ट कर जाहिर भी करने लगे थे अंततः देर शाम तक सूची भी लोगों तक पहुंच गई और अटकलों का बाजार खत्म हो गया, वहीं अंबिका सिंहदेव को बधाई देने का दौर शुरू हो गया पर वहीं कांग्रेस का एक खेमा भी काफी दुखी रहा इसका कारण 5 साल का अपमान माना जा रहा है, जिस विधायक के वजह से संगठन के कई पदाधिकारी व वरिष्ठ कांग्रेसी अपमानित होते रहे वहीं कई तो अपमान का शिकार लगातार बनते रहे और अपमानित करने वाले विधायक को ही दोबारा मौका मिल गया, जिसे लेकर उनके अंदर मायूसी व निराश भी देखने को मिली। सूची जारी होने के बाद कांग्रेस प्रत्याशी के साथ कौन लोग शिद्दत से काम करेंगे यह भी साफ हो गया, क्योंकि उनके साथ काम करने वाले लोगों की फोटो देर रात कोरिया कुमार चौक से सोशल मीडिया पर रिलीज हो गई जिससे यह माना जा रहा है कि यह ही सिर्फ उनके लिए काम करेंगे बाकी सब अपना काम करेंगे। कांग्रेस प्रत्याशी की नई टीम किस तरह से अपने प्रत्याशी को जीत दिलाएगा यह समय के गर्भ की बात है।
ज्ञात होगी छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के लिए विधानसभा क्रमांक 3 यानी के बैकुंठपुर का प्रत्याशी तय करना काफी कठिन था, यही वजह है कि अंतिम सूची में बैकुंठपुर प्रत्याशी तय हो पाया काफी कशमकस के बीच प्रत्याशी पर मोहर लगी और मोहर लगी भी तो उस विधायक पर जिसको लेकर कहा जाता है कि सर्वे रिपोर्ट खराब थी वही सर्वे रिपोर्ट अच्छे वाले प्रत्याशी का टिकट काटकर खराब सर्वे वाले प्रत्याशी को ही थोपा गया है और जीत की उम्मीद की जा रही है, कांग्रेस प्रत्याशी के लिए समय भी कम है और कम समय में बेहतर परिणाम लाने की उम्मीद है, पूर्व कांग्रेस प्रत्याशी का बेहतर सर्वे रिपोर्ट भी वर्तमान विधायक का टिकट नहीं काट सका, बस टिकट तय करने में देरी ही करा पाया। अंतिम समय तक पूर्व कांग्रेस प्रत्याशी टिकट पाने की दौड़ में जद्दोजहद करते रहे और ऊपर से आश्वासन मिलता रहा और बैकुंठपुर की जनता प्रत्याशी कौन होगा इसे लेकर उलझन में उलझी रही, उलझन सुलझी भी तो 22 अक्टूबर को और पूर्व पर ही भरोसा जताया गया, अब प्रत्याशी तय होने के बाद कांग्रेस के पूर्व प्रत्याशी वेदांती तिवारी का क्या रुख होगा यह भी कांग्रेस के लिए सोचने वाला विषय है क्योंकि उन्होंने भी खूब तैयारी कर रखी हैं और उनके मन में क्या चल रहा है और वह कौन सा निर्णय लेते हैं यह भी चुनाव के परिणाम व समीकरण के लिए अहम हो सकता है।
साहू समाज से एकमात्र महिला दावेदार को विधायक समर्थक कर चुके भाजपाई साबित,अब वह साहू समाज के पास कैसे जायेंगे विधायक के लिए वोट मांगने सवाल?
कांग्रेस से जनपद उपाध्यक्ष कांग्रेस पार्टी में ही सक्रिय आशा साहू बैकुंठपुर विधानसभा से कांग्रेस पार्टी के टिकट की दावेदार थीं,साहू समाज का विधानसभा में अच्छा खासा जनाधार है माना जा रहा था विधायक का रिपोर्ट कार्ड खराब होने के कारण महिला दावेदार होने की वजह से उन्हे मौका मिल सकेगा लेकिन उनकी दावेदारी विधायक समर्थकों ने यह साबित कर खारिज करने की कोशिश की की वह भाजपाई हैं,जबकि ऐसा नही हैं उनकी वह तस्वीर कांग्रेस पार्टी के बड़े नेताओं के पास भेजी गई जो सामाजिक कार्यक्रम के थे या सार्वजनिक कार्यक्रम के जहां सभी दल के लोग उपस्थित थे,बताया जा रहा है तस्वीरों को दिखाते हुए यह साबित किया गया की साहू समाज का झुकाव भाजपा की तरफ है और साहू समाज कांग्रेस की तरफ शायद ही आए वहीं विधायक समर्थकों ने साहू समाज की दावेदार को कमजोर करने के लिए उसकी तस्वीरों को जो सार्वजनिक कार्यक्रमों की थी किसी शासकीय मंच की थी जिसमे भाजपा नेता भी मौजूद थे कोंग्रेस नेता भी मौजूद थे उसे समाचार पत्रों में प्रकाशित कराया जिससे उन्हे भाजपाई बताया जा सके ,विधायक समर्थक साहू समाज की दावेदार की दावेदारी तो समाप्त करा दिए लेकिन समाज की दावेदार की दावेदारी समाप्त कर उन्हे नाराज जरूर कर दिया
बैकुंठपुर विधायक को मुख्यमंत्री के खेमे में दिखाने का प्रयास
बैकुंठपुर विधायक का टिकट वैसे तो उप मुख्यमंत्री ने तय किया है मुख्यमंत्री उनकी टिकट को लेकर ज्यादा सहमत नहीं थे जैसा की बताया जा रहा है वहीं मुख्यमंत्री की असहमति ही वर्तमान विधायक की टिकट के लिए संजीवनी बन गई क्योंकि जैसे ही उप मुख्यमंत्री ने जाना मुख्यमंत्री का रुख सर्वे में सबसे आगे चल रहे दावेदार वेदांती तिवारी की तरफ है उप मुख्यमंत्री ने पेंच फंसा दी एक स्क्रिप्ट लिख दी। पेंच फसने की वजह से ही विधायक का टिकट तय हो पाया जो तय तो था लेकिन पेंच जताकर अन्य को संतुष्ट कर पाई पार्टी,विधायक का टिकट 22 अक्टूबर को तय होगा यह भी विधायक जान रही थीं समर्थक नहीं जान रहे थे वहीं 22 अक्टूबर को सुबह से ही समर्थकों को विधायक की तरफ से बता दिया गया था वह एक एक करके यह जाहिर सोशल मिडिया पर कर रहे थे की टिकट विधायक का ही तय है। इस बीच कुछ समर्थक विधायक की तस्वीर के साथ मुख्यमंत्री की तस्वीर भी सोशल मिडिया पर साझा कर रहे थे और यह जाहिर कर करने की वह कोशिश कर रहे थे की विधायक मुख्यमंत्री खेमे की हैं न की अन्य खेमे की जबकि विधायक का टिकट उप मुख्यमंत्री की मंशा से तय हुआ है यह बताया जा रहा है माना जा रहा है।
क्या सरगुजा महल के विरोधी करेंगे कोरिया महल के लिए चुनाव में काम?
कोरिया पैलेस और सरगुजा पैलेस के बीच अभी संबंध अच्छे हैं ऐसा देखा जा रहा है वहीं कोरिया पैलेस से राजनीति में सक्रिय बैकुंठपुर विधायक के लिए उनके फिर से कांग्रेस पार्टी से प्रत्याशी बनाए जाने को लेकर जब दिक्कत आ रही थी तब बताया जा रहा है की एक सरगुजा पैलेस विरोधी का सहयोग विधायक को मिल रहा था जो प्रत्याशी के लिए पार्टी के तरफ से आने वाले प्रभारी के साथ आया करता था और विधायक बैकुंठपुर का टिकट न कटे यह प्रयास कर रहा था,अब जब टिकट तय हो गया है पुनः कांग्रेस ने आम दावेदार की जगह कोरिया के बैकुंठपुर में पैलेस को ही महत्व दिया है ऐसे में यह भी देखने वाली बात होगी की क्या सरगुजा पैलेस विरोधी का कोरिया पैलेस से टिकट पाई वर्तमान विधायक के लिए सहयोग रहेगा की नहीं,वैसे बताया जा रहा है सरगुजा पैलेस विरोधी कोरिया पैलेस के भरोसे ही अपनी राजनीति आगे बढ़ाएंगे क्योंकि यहीं उन्हे थोड़ी बहुत स्वतंत्रता मिल सकेगी सरगुजा में सरगुजा पैलेस परिवार के राजनीति में रहते वहां दाल उनकी गलेगी नहीं यह माना जा रहा है।
पटना क्षेत्र के समर्थक कह रहे उन्ही की वजह से मिला विधायक को टिकट
बैकुंठपुर विधायक का टिकट कट गया था पटना क्षेत्र के समर्थक नहीं जाते सरगुजा पैलेस आशा साहू का भाजपा नेताओं के साथ फोटो भेंट मुलाकात का वह नहीं समाने रखते यदि उप मुख्यमंत्री के तो बैकुंठपुर विधायक का टिकट कट चुका था वह मैदान से बाहर थीं,पटना के समर्थक जो अंबिकापुर गए थे वह यही मानकर चल रहे हैं,वैसे गलती उनकी भी नहीं है जो स्क्रिप्ट बनी थी उतना उनका अभिनय उसमे लिखा हुआ था जो उनसे कराया गया और उन्हे भी यह जताया गया की वह कर्ता धरता हैं टिकट मामले में वरना टिकट कट गया था।
बैकुंठपुर विधानसभा के मुस्लिम मतदाताओं को साधने के लिए अंबिकापुर के व्यक्ति का सहारा लिया जायेगा?
जैसा की बताया जा रहा है की बैकुंठपुर विधानसभा में चुनाव भाजपा विरुद्ध कांग्रेस नहीं रह गया है,बैकुंठपुर में विरोध विधायक का है जो मुस्लिम समुदाय में भी है जो भाजपा की बजाए भईयालाल राजवाड़े की तरफ जा सकता है यदि उसे सही ढंग से नहीं मनाया गया ,अब मुस्लिम मतदाताओं को मनाने के लिए बताया जा रहा है अंबिकापुर से एक व्यक्ति को बुलाया जाएगा जो पहले मनाएगा फिर यहीं से अपनी राजनीतिक गतिविधियां भी जारी रखेगा ,बैकुंठपुर विधानसभा में क्या मुस्लिम मतदाता इतने नाराज हैं की यहां कोई मान मनौवल के लिए भी आगे नहीं आएगा यह भी सोचने वाली बात है।
वेदांती तिवारी का अच्छा सर्वे रिपोर्ट भी नहीं काटा सका वर्तमान विधायक का टिकट
कांग्रेस के सभी सर्वे रिपोर्ट में वेदांती तिवारी एक नंबर पर थे वहीं विधायक का कोई नम्बर ही नहीं था यह बताया जा रहा है,राजपरिवार से होना और उप मुख्यमंत्री का अप्रोच उनके टिकट के लिए काफी रहा और जनाधार साबित सर्वे में होने के बावजूद वेदांती तिवारी बिना टिकट रह गए वंचित रह गए।
कोरिया कुमार चौक पर खड़े होकर जिस टीम ने फोटो खिंचवाया क्या उसी की जिम्मे में आएगी जीत?
विधायक को टिकट मिला इसका ऐलान हुआ 22 अक्टूबर को देर शाम विधायक देर शाम बैकुंठपुर राजीव भवन पहुंची वहीं वहीं से वह स्व कुमार चौक पहुंची और वहां वह तस्वीर खिंचवाई जिसमे गिने चुने आठ दस लोग हैं,अब क्या यही वह टीम है विधायक की अगली जो विधायक के लिए जी जान से काम करेगी वहीं यही टीम जीत का श्रेय लेगी,वैसे यही फोटो में दिख रहे लोग सभी सबेसे करीब हैं और यह लोग ज्यादा जोड़ने की बजाए इस बात पर विश्वास रखते हैं की यह काफी हैं जीत के लिए ऐसा माना जाता है। वैसे शहर से ही कोई नहीं निकला टिकट का जश्न मनाने यह बड़ा सवाल है विधायक के जनाधार को लेकर?
फोटो में प्रत्याशी सहित समर्थक दिखे पर फोटो में नहीं दिख पाए कोरिया कुमार
समर्थकों ने विधायक के साथ रात में ही टिकट की घोषणा होते ही स्व कुमार चौक जाकर यह जाहिर किया की चुनाव में स्व कुमार साहब का चेहरा विधायक के लिए उनकी पहचान रहेगा लेकिन तस्वीर में स्व कुमार साहब की मूर्ति नजर नहीं आई जो प्रश्न बना की अभी से उनको लेकर ऐसा करना आगे कैसे होगा पता नहीं।
वरिष्ठ कांग्रेसियों को दरकिनार कर होगी तैयारी
बताया जा रहा है विधायक जान रही हैं वरिष्ठ उनका साथ शायद ही देंगे साथ दिखने की बात अलग है वह जनमत के लिए कितना प्रयास करेंगे इसमें संशय है इसलिए विधायक वरिष्ठ लोगों को दरकिनार कर चलेंगी यह तय बताया जा रहा है,एक बार वह वरिष्ठ लोगों से बात करेंगी मात्र उसके बाद सबको किनारे करके वह अपना प्रचार करेंगी यह तय माना जा रहा है।
5 साल अपमानित होने वाले के पास नहीं बचा कोई विकल्प
पांच साल तक पार्टी में रहकर अपमानित होने वाले पदाधिकारी कार्यकर्ताओं के पास पार्टी के कोई विकल्प नहीं है उन्हे फिर होना है अपमानित वह जान रहे हैं इसलिए अब वह सोच रहे हैं किधर जाएं,एक छोटे कार्यकर्ता ने तो यहां तक कह दिया बड़े नेताओं का क्या है पिछला पांच साल उनकी लड़ाई में चला अगला भी जाने तैयार है,उनका क्या है वह बड़े हैं एक ही रहते हैं।
समर्थक की मनोकामना हुई पूर्ण वर्तमान विधायक को मिला टिकट,हनुमान मंदिर में चढ़ाया 101 किलो का लड्डू
सूत्रों की माने तो एक समर्थक के द्वारा वर्तमान विधायक को ही टिकट मिले इसके लिए मनोकामना की गई थी जो पूरी भी हुई, विधायक को टिकट मिलने पर मनोकामना पूर्ण होते ही हनुमान मंदिर में पहुंचकर पूजा अर्चना किया हुआ प्रभु का शुक्रिया अदा करते हुए 101 किलो लड्डू चढ़ाया गया।