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अंबिकापुर,@फर्जी पट्टा वितरण,पेयजल की समस्या को लेकर सामान्य सभा में विपक्ष ने सत्ता पक्ष को घेरा

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अंबिकापुर,11 अगस्त 2023 (घटती घटना) नगर निगम की सामान्य सभा शुक्रवार की दोपहर 12 बजे से सरगुजा सदन में सभापति अजय अग्रवाल की उपस्थिति में शुरू की गई। सबसे पहले नवपदस्थ निगम आयुक्त का स्वागत किया गया। बैठक की शुरूआत हंगामेदार रही। निगम क्षेत्र में पेयजल की ज्वलंत व गंभीर समस्या को साापक्ष द्वारा एजेंडे में 20 नंबर पर रखे जाने पर विपक्ष ने आपति जताते हुए कहा कि पेयजल शहर का सबसे ज्वलंत मुद्दा है और उसे एजेंडे में अंतिम में रखा गया है। नेता प्रतिपक्ष प्रबोध मिंज ने कहा कि 106 करोड़ की राशि का दुरुपयोग किया गया है। अगर इस राशि का सही से उपयोग किया गया होता तो आज शहरवासियों को पेयजल की समस्या से नहीं जूझना पड़ता। विपक्ष ने कहा कि अगर अमृत मिशन के तहत पैसा नहीं आता तो कई लोग पेयजल की समस्या से ग्रसित होकर शहर छोड़ पलायन कर जाते। इतनी बड़ी गंभीर समस्या को लेकर साा पक्ष द्वारा एक बार भी चर्चा नहीं की गई। अभी भी स्थिति कोई बेहतर नहीं है। बांकी डेम में मात्र दस प्रतिशत ही पानी भर पाया है। अगर कोई ठोस पहल नहीं की गई तो आने वाले कुछ दिनों में पुन: स्थिति खराब हो सकती है। वहीं मामले में साा पक्ष से पीडल्यूडी प्रभारी शफी अहमद ने कहा कि अब धीरे-धीरे पेयजल की समस्या में सुधार हो गया है। इस गंभीर समस्या के प्रति विपक्ष को खुद भी आगे आकर चर्चा करनी चाहिए। इसके बाद भाजपा समर्थित पार्षद आलोक दुबे ने शासन के नियम के तहत नजूल भूमि पर 152 प्रतिशत के तहत पट्टा देने के मामले में फर्जीवाड़ा का आरोप लगाया। आलोक दुबे ने कहा कि मात्र 20 प्रतिशत पट्टा शासन के नियम के तहत दिया गया है। बाकी 80 प्रतिशत पट्टों में बिना जांच के नगर निगम द्वारा एनओसी दे दिए गए हैं। पार्षद आलोक दुबे ने कहा कि अगर ऐसी स्थिति रही तो नगर निगम को जरूरत पडऩे पर सामुदायिक भवन बनाने के लिए सोचना पड़ेगा। शासन के नियम के तहत वर्ष 2017 के पहले से भूमि पर काबिज हितग्राही को 7 डिसिमल के अंदर के लिए एनओसी देना है। लोग रह कहीं और रहे हैं और उन्हें पट्टा के लिए एनओसी कहीं और का दे दिया गया है। सहायक नजूल अधिकारी द्वारा 1578 लोगों को एनओसी दे दिया गया है, जबकि यह मात्र 20 प्रतिशत ही सही है। 80 प्रतिशत एनओसी गलत तरीके से दे दिया गया है। इस मुद्दे पर साा पक्ष की ओर से शफी अहमद ने कहा कि शासन के पत्र के अनुसार 152 प्रतिशत के लिए कमेटी बनाई गई है। इस कमेटी में निगम आयुक्त भी रहते हैं। विपक्ष द्वारा फर्जी तरीके से एनओसी देने का आरोप लगाया गया है तो इसकी जांच कराई जाएगी। गूगल मैप से जांच कराई जाएगी कि वास्तविक कजे की स्थिति क्या है। विपक्ष के पार्षद मधुसूदन शुक्ला ने आरोप लगाया कि सडक¸ों का डामरीकरण आधा-अधूरा कराया गया है। निविदा पूरी सडक¸ की होती है और डामरीकरण आधी सडक¸ का कराया जाता है। वहीं उन्होंने कहा कि गर्मी के दिनों में डामरीकरण का काम बंद करा दिया गया और आनन फानन में बारिश के दिनों में कुछ विशेष सडक¸ों पर डामरीकरण कराया जा रहा है। जबकि सडक¸ें सभी बननी चाहिए पर सडक¸ डामरीकरण में भेदभाव किया जा रहा है। इस मुद्दे पर साापक्ष की ओर से शफी अहमद ने कहा कि 22 करोड़ की राशि स्वीकृत है। ठेकेदार द्वारा काम कराया जा रहा है। रिटेंडर भी कराया गया है। 15 सितंबर के बाद पुन: सडक¸ों का डामरीकरण का कार्य शुरू कराया जाएगा। समय सीमा के तहत कार्य पूर्ण कराया जाएगा।
विपक्ष के पार्षदों ने आरोप लगाया कि नालियों पर किए गए अतिक्रमण के कारण बारिश में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं बारिश में नव निर्मित नाला पानी में बह गया, गुणवाा का भी ध्यान नहीं रखा जा रहा है। शासन की राशि का बंदरबांट किया जा रहा है। इस मुद्दे पर शफी अहमद ने निर्माण प्रभारी को निर्देश दिए हैं कि देवी गंज रोड में 15 दिन के अंदर नालियों पर किए गए अतिक्रमण को हटाने की कार्रवाई करें। वहीं बारिश में नाला बह जाने के मामले में शफी अहमद ने कहा कि मैंने पूर्व में ही इस मामले में निगम आयुक्त को पत्र लिखकर जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।


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