- जिला अधिकारी का उदासीन रवैया महिलाओ को सशक्त होने में बना रोड़ा
- छतीसगढ़ की महिलाओं को सक्षम बनाने के लिए सरकार ने मुख्यमंत्री सक्षम योजना की शुरुआत की है
- महिलाओ को नही मिल रहा इस योजना का लाभ
-रवि सिंह-
बैकुण्ठपुर 03 अगस्त 2023 (घटती-घटना)। कोरिया जिले के सोनहत विकासखंड की जरूरतमंद महिलाओ को महिला बाल विकास विभाग जिला कार्यालय बैकुंठपुर के अधिकारी की लापरवाही और उदासीनता के कारण महिला को कोष अंर्तगत छत्तीसगढ़ मुख्यमंत्री महिला सक्षम योजना का लाभ महिलाओ को नही मिल पा रहा है।
प्राप्त जानकारी अनुसार वर्ष 2018 में महिलाओ ने योजना का लाभ लेने आवेदन महिला बाल विकास विभाग कार्यालय में जमा किया था, लेकिन विगत पांच वर्ष बीत जाने के बाद भी उन्हें इस योजना का लाभ आज तक नही मिल सका है। वही जिला महिला बाल विकास विभाग कार्यालय बैकुंठपुर के द्वारा पांच वर्ष पूर्व जमा किए गए आवेदनों को अप्रैल 2023 में आय प्रमाण पत्र की कमी होना बताकर वापस ब्लाक स्तरीय कार्यालय को पुनः भेज दिया गया । योजना का लाभ लेने आवेदन कर्त्ता महिलाओ ने नए सिरे से नया आय प्रमाण पत्र बनवाकर आवेदन पत्र के साथ पुनः जमा कर दिए ,लेकिन इस बार भी आवेदन जमा करने के उपरांत अब तक योजना का लाभ नही मिल सका है। सक्षम योजना अंतर्गत जमा किए गए आवेदन जिला अधिकारी के टेबल पर आज भी धूल खा रहे है। जिला महिला कोष द्वारा सन् 2009-2010 में राज्य की महिलाओं को खुद का लघु उद्योग स्थापित करने हेतु प्रोत्साहित करने के लिए मुख्यमंत्री सक्षम सुरक्षा योजना की शुरुआत की गई थी। इस योजना के तहत राज्य की 35 वर्ष से 45 वर्ष की आयु वाली महिलाओं को खुद का उद्योग,व्यवसाय स्थापित करने के लिए ऋण उपलब्ध करवाया जाता है। यह ऋण एक लाख तक का होता है जो 5 प्रतिशत साधारण वार्षिक ब्याज दर पर 5 वर्षों की अवधि के लिए उपलब्ध करवाया जाता है। शुरुआती दौर में यह ब्याज दर 6.5 प्रतिशत था जिसे सन् 2017 में घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया गया है। इस योजना का सुचारू रूप से संचालन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा किया जाता है। जिले के कलेक्टर के अनुमोदन उपरांत योजना का लाभ पात्र होने पर मिल पाता है।
इसके अलावा स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को भी सक्षम योजना का लाभ प्रदान किया जाता है। राज्य में मुख्यमंत्री सक्षम योजना महिलाओं के लिए एक जीवनदायिनी के रूप में कार्य कर रही है। क्योंकि इसके माध्यम से अब तक हजारों महिलाओं ने अपना खुद का व्यवसाय स्थापित करके समाज में अपनी एक अलग पहचान बनाई है। इस योजना का संचालन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा किया जाता है। इस योजना महिलाओं को 1 लाख तक का लोन दिया जाता है।जिससे वो अपना बिजनेस शुरू कर सकती हैं। इस योजना का उद्देश्य महिलाओं की आर्थिक स्थिति को मजबूत और उन्हें आत्मनिर्भर बनाना है। इसके अलावा इससे महिलाओं की सामाजिक स्थिति में भी सुधार आएगा। इस योजना के जरिए वो ना सिर्फ उनकी आर्थिक स्थिति सुधरेगी बल्कि महिलाओं का संपूर्ण व्यक्तित्व विकास होगा। इस तरह से सही मायने में प्रदेश की महिलाओं का सशक्तिकरण होगा। लेकिन जिला कार्यालय में बैठे अधिकारी इस योजना को पलीता लगाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे है।