इसके ट्रैक से कई शहरों को जोड़ा जाएगा
कानपुर से लखनऊ तक का सफर सिर्फ इतने मिनट में होगा
नई दिल्ली18 फ रवरी 2023 (ए)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्रेनों को लेकर अहम फैसला लिया है। अब वंदेभारत ट्रेनों की ही तर्ज पर शहरों में वंदेभारत मेट्रो ट्रेन चलाई जाएंगी। वंदे मेट्रो सर्विस के जरिए उत्तर प्रदेश के कई शहरों को जोड़ा जाएगा। केंद्रीय बजट में, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने यह जानकारी दी थी. रिपोर्ट्स के मुताबिक, वंदे भारत मेट्रो का परिचालन लखनऊ से सीतापुर और कानपुर के बीच किए जाने का निर्णय लिया गया है।
लखनऊ और कानपुर के बीच सफर को आसान बनाने की योजना पर काम किया जा रहा है। दोनों महत्वपूर्ण शहरों के बीच 30 से 45 मिनट की यात्रा को लेकर प्लानिंग तैयार की गई है। अभी लखनऊ से कानपुर के लिए हर रोज करीब 110 ट्रेनों का परिचालन हो रहा है। दोनों शहरों के बीच यात्रियों का हर रोज बड़ी संख्या में आना जाना होता है।
बता दें कि वंदेभारत मेट्रो सामान्य वंदेभारत ट्रेन की तुलना में थोड़ी अलग होंगी। वंदेभारत मेट्रो उन बड़े शहरों में चलाई जाएगी, जहां पर लोगों का एक स्थान से दूसरे स्थान आवागमन अधिक संख्या में होता है।
वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन के अफसरों को मिली सजा?
देश की सेमी हाई स्पीड ट्रेन वंदे भारत एक्सप्रेस अपनी सुविधाओं और स्पीड को लेकर जमकर सुर्खियों में हैं। देश के अलग-अलग शहरों में इस ट्रेन का लगातार विस्तार किया जा रहा है। लोग भी खूब इस ट्रेन में सफर का आनंद ले रहे हैं। इस बीच सोशल मीडिया पर एक ट्वीट तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन बनाने वाले हर एक अधिकारी को सजा दी गई है।
भारतीय रेलवे अपनी ट्रेनों को लेकर अपग्रेड हो रहा है। अब ट्रेनें तय समय पर स्टेशन पहुंचती है और स्टेशन पर भी यात्रियों के लिए सुविधाओं को पहले से बेहतर किया जा रहा है। ऐसे में वायरल ट्वीट में दावा करते हुए लिखा गया है कि “भारत में इस अद्भुत ट्रेन को बनाने वाले हर एक अधिकारी को सजा दी गई है। टीम के हर एक सदस्य को परेशान किया गया। उन्होंने भ्रष्टाचार के लिए जांच की। भ्रष्टाचारियों द्वारा। रेलवे के भ्रष्ट अधिकारियों ने इस ट्रेन को बनाने वाले ईमानदार इंजीनियरों की जांच की और उन्हें नवाचार के लिए दंडित किया है।
पीआईबी फैक्ट चैक ने बताई सच्चाई
वायरल ट्वीट के मुताबिक बिना वजह वंदे भारत बनाने वाली टीम के सदस्यों पर भ्रष्टाचार के मामले दर्ज किए गए और उनसे पूछताछ की गई। अब इस वायरल ट्वीट को लेकर प्रेस इंफोर्मेशन ब्यूरो ने इसकी सच्चाई बताई है। पीआईबी फैक्ट चैक ने इसकी सच्चाई बताते हुए ट्वीट किया है, जिसमें उन्होंने लिखा-एक ट्वीट में दावा किया गया है कि वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को बनाने वाले हर एक अधिकारी को सजा दी गई है। ये दावा फर्जी है। मामले में किसी अधिकारी को सजा नहीं हुई है।
वंदे भारत एक्सप्रेस भारत की हाई स्पीड ट्रेनों में से एक है, जिसे 15 फरवरी 2019 में वाराणसी से नई दिल्ली के बीच शुरू किया गया था। अब तक यह देशभर में अलग-अलग रेल मार्ग पर कुल 10 वंदे भारत एक्सप्रेस चल रही है।
