बैकुण्ठपुर@क्या झुमका महोत्सव में मंच पर ऐसे थिरके विधायक कमरो की टूटी कुर्सियां?

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  • भरतपुर सोनहत विधायक के अजीब रंग,नाचने गाने और भक्ति गीत पर झूम जाने की है उनमें अद्भुत कला
  • सांस्कृतिक आयोजनों में खुलकर अपनी भावनाओं को प्रदर्शित करते हैं भरतपुर सोनहत विधायक
  • प्रशासनिक अधिकारी भी झुमते दिखे,सुरक्षा व्यवस्था की खुली पोल


रवि सिंह –
बैकुण्ठपुर 19 जनवरी 2023 (घटती-घटना)।
मंचो पर नाचना और गाना वैसे तो कोई अजीब बात नहीं होती और न ही इसमें कोई आश्चर्य ही होता है लेकिन यदि कोई विधायक या राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त व्यक्ति ऐसा करता है तो जरूर यह विषय महत्वपूर्ण हो जाता है और इसकी चर्चा भी होने लगती है। ऐसी ही कुछ चर्चा भरतपुर सोनहत विधायक को लेकर हो रही है जो कहीं भी यदि सांस्कृतिक कार्यक्रमों में जाते हैं और और उसमें शामिल होते हैं तो सांस्कृतिक कार्यक्रम में खुद को गाने और नाचने से नहीं रोक पाते हैं और वह पूरे उत्साह एवम पूरे आनंद के साथ गाने और नाचने में स्वयं को लीन कर ले जाते हैं और उन्हे फिर इसको लेकर किसी चर्चा होने की भी फिक्र नहीं होती और वह अपनी भावनाओं का खुलकर प्रदर्शन करते हैं जो उनके सांस्कृतिक कार्यक्रमों के प्रति मनोरंजन के भाव को दर्शाती है।
भरतपुर सोनहत विधायक वैसे तो ग्रामीण परिवेश से आते हैं और वह बेहद सहज एवम सादगी भरा जीवन जीते हैं वहीं जैसा बताया जाता है की उनकी ईश्वर भक्ति में भी रुचि अत्यधिक है और वह अपने दिन की शुरुआत भक्तिभाव के साथ ईश्वर की पूजा अर्चना कर करते हैं और यह उनकी नियमित दिनचर्या का हिस्सा भी है। सांस्कृतिक कार्यक्रमों में जब कभी भी उन्हे शामिल होते देखा गया है उन्हे सांस्कृतिक कार्यक्रमों में लीन पाया गया है और यही वजह भी है वह खुद को नाचने गाने से नहीं रोक पाते हैं और कार्यक्रम में लीन हो जाते हैं। विधायक जी को कई बार भक्ति गीतों पर झूमते झुपते भी देखा गया है ईश्वर भक्ति में अपार श्रद्धा इसकी वजह है यह भी माना जाता है। कम ही देखने को मिलता है की विधायक कहीं नचाते गाते नजर आते हों लेकिन भरतपुर सोनहत विधायक हर कार्यक्रम में खुद को नाचने गाने से नहीं रोक पाते और कार्यक्रम में लीन हो जाते हैं यह कई अवसरों पर देखा गया है।

रामानुज प्रताप सागर के तट पर दो दिवसीय झुमका महोत्सव का कार्यक्रम संपन्न
मुख्यालय के रामानुज प्रताप सागर के तट पर दो दिवसीय झुमका महोत्सव का आयोजन किया गया, इसके लिए प्रषासन ने खूब तैयारी की थी दो दिनों तक भारी भीड़ भी मौजूद रही। पहले दिन शुभारंभ अवसर पर मुख्य अतिथि क्षेत्रीय विधायक व संसदीय सचिव अंबिका सिंहदेव थी तो कार्यक्रम की अध्यक्षता भरतपुर सोनहत क्षेत्र के विधायक गुलाब कमरो ने की। पहले दिन भव्य आतिशबाजी के साथ ही गायिका आरू साहू, सुनील मानिकपुरी, विनोद राठौर, अनुज शर्मा आदि कलाकारो ने अपनी प्रस्तुती दी। तो वहीं दूसरे दिन कार्यक्रम के समापन अवसर पर सांसद ज्योत्सना महंत बतौर मुख्य अतिथि उपस्थित थी। समापन दिवस अतिथियो के उद्वबोधन आदि औपचारिकताओं के बाद देर शाम प्रसिद्व गायक सुखबीर सिंह की मनमोहक प्रस्तुति का दर्शको ने भरपूर आनंद लिया। उन्होने कई फिल्मी व पंजाबी गायको की प्रस्तुति दी। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में दर्शक मौजूद थे। बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधियों के साथ ही पूरा प्रशासनिक अमले की मौजूदगी में कार्यक्रम संपन्न हुआ।
शुभारंभ पर मंच से गाया और समापन में विधायक गुलाब कमरो ने मंच पर नाचा
पहली बार आयोजित झुमका महोत्सव में एक ओर जहां लोगो ने भरपूर आनंद लिया तो वहीं दूसरी ओर विधायक गुलाब कमरो का भी अलग ही रूप देखने को मिला, शुभारंभ अवसर पर भी उन्होने मंच से गाना गाकर प्रस्तुति दी तो वहीं समापन कार्यक्रम में भी विधायक गुलाब कमरो मंच पर पहुंच गए और फिल्मी गाने पर काफी देर तक झुमते नजर आये। उन्होने सुखबीर सिंह के गाने पर मंच से जमकर ठुमका लगाया,तो वहीं दर्षको ने भी सुखबीर सिंह के गानो का भरपूर आनंद लिया। कार्यक्रम में मौजूद कई प्रशासनिक अधिकारी भी थिरकते नजर आए। ज्ञात हो कि विधायक बनने के बाद गुलाब कमरो जनता को रिझाने कोई कसर नही छोड़ रहे है पहले भी सार्वजनिक मंच पर उनके गाने और डांस का विडियो वायरल हो चुका है, एमसीबी जिले के शुभारंभ अवसर पर भी मुख्यमंत्री के समझ उन्होने गीतो की प्रस्तुति दी थी। कार्यक्रम मे उनका अलग ही रूप देखने को मिलता है। वे ऐसे कार्यक्रम में खुद को क्यो नही रोक पा रहे है यह तो समझ से परे है लेकिन इससे उनकी तारिफ के साथ ही किरकिरी भी हो रही है।

खूब हुई हुड़दंगी,टूटे सैकड़ों कुर्सियां, क्या होगी कार्यवाही?
बहरहाल झुमका महोत्सव के देर रात तक चले उक्त कार्यक्रम से एक ओर जहां प्रधासन की खूब वाहवाही हुई तो वहीं सुखबीर सिंह की प्रस्तुति के बीच ही एक ओर शरारती तत्वों ने जमकर उत्पात मचाया उनका वीडियो अब सोशल मीडिया पर भी वायरल हुआ है। शरारती तत्वो ने कार्यक्रम स्थल के एक ओर बड़ी संख्या में कुर्सियो को तोड़ा और अन्य सामानो को भी नुकसान पहुंचाया है। अनुमान लगाया जा रहा है कि लगभग 1 हजार कुर्सियों को तोड़ा गया है। इन शरारती तत्वो का वीडियो तो वायरल हुआ है ऐसे में आगे क्या कार्यवाही होगी यह देखने वाली बात होगी लेकिन जिस प्रकार महोत्सव में शरारती तत्वो ने उत्पात मचाया है उसे देखकर पुलिस व्यवस्था की पोल भी खुल गई है। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में पुलिस बल मौजूद था, पुलिस प्रमुख स्वयं कार्यक्रम स्थल पर मौजूद थे। सुखबीर सिंह के कार्य्रकम के बीच कई पुलिस कर्मी मोबाईल से वीडियो बनाते नजर आए तो कई पुलिस कर्मी फेसबुक पर लाईव भी कर रहे थे इसी बीच शरारती तत्वो द्वारा कुर्सियां तोड़ी जा रही थी, सवाल उठता है कि पुलिस बल सिर्फ वहां कार्यक्रम का लुत्फ उठाने गया था जिससे कि उन्हे यह कृत्य नही दिखा और बड़ी संख्या में कुर्सियों को नुकसान पहुंचाया गया। शरारती तत्वो ने कुर्सियों को तोड़कर जिस प्रकार उत्पात मचाया है उससे प्रशासनिक व्यवस्था की पोल खुल गई है। लोग सोषल मीडिया पर सवाल उठा रहे हैं कि भारी पुलिस बल के होते हुए भी इस प्रकार की घटना कैसे हुई।


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