अम्बिकापुर@महिला की बचाव हेतु दो अन्य रक्तदाता आगे आए

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अम्बिकापुर01 जुलाई 2022 (घटती-घटना)। मानव जीवन के लिए रक्त क्या अहमियत रखता है यह उस समय देखने को मिला जब एक एनिमिक महिला सूरजपुर जिले से अंबिकापुर पहुंची। महिला के शरीर में मात्र 2.4 ग्राम रक्त था जिससे उसकी स्थिति काफी नाजूक बनी हुई थी। मेडिकल कॉलेज अस्पताल पहुंची महिला के लिए बी निगेटिव खून की जीवनरक्षा के लिए तत्काल जरूरत थी। महिला के साथ आए परिवार के सदस्यों में कोई भी ऐसा नहीं था जिसका खून उक्त ग्रुप से मेल खाता हो। इसकी जानकारी चिकित्सा अधीक्षक डॉ. लखन सिंह को मिली तो उन्होंने बी निगेटिव ब्लड की उपलब्धता के लिए ब्लड बैंक प्रभारी डॉ. विकास पाण्डेय को निर्देशित किया। उन्होंने कहा कि अगर ब्लड बैंक में उक्त गु्रप का खून नहीं है तो रक्तदाताओं की सूची में शामिल ऐसे लोगों को देखें जिनका रक्त गु्रप बी निगेटिव हो। उनका यह सुझाव महिला के लिए जीवनदायिनी साबित हुआ और ब्लड बैंक प्रभारी के संपर्क पर अदानी में कार्यरत नंदकुमार प्रजापति व शिवधारी कॉलोनी के लक्की तिवारी दो यूनिट बी निगेटिव रक्त दान कर महिला की जीवन रक्षा की कड़ी साबित हुए।
यह था मामला
सूरजपुर के जिला अस्पताल में कमला नामक 23 वर्षीय महिला को भर्ती किया गया था जिसके शरीर में मात्र 2.4 ग्राम खून था। रक्त की अत्यधिक कमी के कारण वह कोमा में जाने की स्थिति में पहुंच चुकी थी। सूरजपुर में बी निगेटिव गु्रप का खून नहीं मिलने पर उसे चिकित्सकों की सलाह पर मेडिकल कॉलेज अस्पताल अंबिकापुर लेकर स्वजन पहुंचे। एनीमिक महिला की स्थिति को चिकित्सा अधीक्षक ने गंभीरता से लिया और रक्तदाताओं के सहयोग से वह कोमा में जाने से बच गई।
बायोलॉजी विभाग के इंचार्ज डॉ. अरविंद सिंह ने दिया खून
महिला की स्थिति नाजुक देखते हुए ब्लड बैंक प्रभारी डॉ. विकास पाण्डेय बी निगेटिव गु्रप के रक्तदाताओं से संपर्क करने में लगे थे, लेकिन महिला के लिए खून की तत्कालिक जरूरत को देखते हुए मेडिकल कॉलेज के बायोलॉजी विभाग के इंचार्ज डॉ. अरविंद सिंह ने तत्काल एक यूनिट रक्त देकर कोमा में जा रही महिला को राहत पहुंचाने का पुनीत कार्य किया।


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