वर्ल्ड डेस्क, वाशिंगटन 25 जून 2022। थिंक टैंक गुटमैशर इंस्टीट्यूट के मुताबिक 2020 में अमेरिका में कुल जितने गर्भपात हुए, उनमें 54 फीसदी गोलियों के जरिए कराए गए। 2017 में ये आंकड़ा 39 फीसदी था। यानी गुजरे वर्षों में गर्भपात की गोलियों का उपयोग बढ़ा है। पिछले दिसंबर में एफडीए ने इन गोलियों की ऑनलाइन सप्लाई पर लगी रोक हटा ली थी…अमेरिका में सुप्रीम कोर्ट के गर्भपात को वैध ठहराने का फैसला पलट देने के बाद अब कई राज्यों में ‘गर्भपात की गोलियों’ (एबॉर्शन पिल्स) की उपलब्धता सीमित करने कोशिशों पर ध्यान केंद्रित हो गया है। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को 1973 के रो एंड वेड नामक फैसले को पलट दिया। 49 साल पहले उस फैसले में कोर्ट ने गर्भपात कराने को महिलाओं का वैध अधिकार घोषित किया गया था।
अमेरिका में मिफेप्रिस्टोन और मिसोप्रोस्टॉल नाम की गोलियों का इस्तेमाल गर्भ गिराने के लिए होता है। इन गोलियों के सेवन को अमेरिका के फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (एफडीए) ने मान्यता दे रखी है। इन गोलियों का इस्तेमाल गर्भ ठहरने के पहले दस हफ्तों के अंदर किया जाता है। इन गोलियों की ऑनलाइन डिलीवरी भी होती है। अमेरिका के जिन राज्यों ने गर्भपात पर रोक लगाई है, अब वहां इन गोलियों की डिलीवरी रोकने के उपायों पर विचार चल रहा है।
गोलियां मंगाने वाली महिलाएं हो सकती है दंडित
विशेषज्ञों के मुताबिक इन राज्यों के अधिकारी इन गोलियों की आपूर्ति रोकने के उपायों पर चर्चा कर रहे हैँ। इस सवाल पर विचार कर रहे हैं कि क्या ऐसी गोलियां मंगवाने वाली महिलाओं को दंडित किया जा सकता है। जॉर्जटाउन यूनिवर्सिटी में कानून के प्रोफेसर लॉरेंस गॉस्टिन ने वेबसाइट एक्सियोस.कॉम से कहा- ‘बीते 50 साल में गर्भपात को लेकर जारी कल्चर वॉर के क्रम में दंड की सीमारेखाएं खींची गई थीं। यह मान लिया गया था कि दंड का भागी सप्लायर है, वे महिलाएं नहीं जो ऐसी सेवाएं लेती हैं। लेकिन लगता है कि अब ये सीमा लांघी जाने वाली है।’ थिंक टैंक गुटमैशर इंस्टीट्यूट के मुताबिक 2020 में अमेरिका में कुल जितने गर्भपात हुए, उनमें 54 फीसदी गोलियों के जरिए कराए गए। 2017 में ये आंकड़ा 39 फीसदी था। यानी गुजरे वर्षों में गर्भपात की गोलियों का उपयोग बढ़ा है। पिछले दिसंबर में एफडीए ने इन गोलियों की ऑनलाइन सप्लाई पर लगी रोक हटा ली थी। तब से टेलीमेडिसीन के जरिए इन गोलियों के इस्तेमाल में काफी बढ़ोतरी हुई है। इसीलिए रिपब्लिकन पार्टी शासित राज्यों की नजर अब इन गोलियों पर टिकी हुई है।
एफडीए के सीमा क्षेत्र में हस्तक्षेप नहीं कर सकती राज्य सरकार
विधि विशेषज्ञों के मुताबिक राज्यों को एफडीए से मंजूरी प्राप्त दवाओं को प्रतिबंधित करने का अधिकार नहीं है। 2014 में मेसाचुसेस्ट्स राज्य ने एक दवा पर रोक लगाई थी। लेकिन अदालत ने यह कहते हुए उस प्रतिबंध को रद्द कर दिया कि राज्य सरकार उस दवा का इस्तेमाल नहीं रोक सकती, जिसे एफडीए ने सुरक्षित बताया हो। शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद अमेरिका के अटार्नी जनरल मेरिक गारलैंड के सामने ये सवाल रखा गया। इस पर उन्होंने कहा- ‘एफडीए के अधिकार क्षेत्र संबंधी कोर्ट के फैसले को देखते हुए संभवतः राज्य सरकारें गर्भपात की गोलियों पर रोक नहीं लगाएंगी।’ उधर राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा कि वे इन गोलियों की व्यापक रूप से उपलब्धता को सुनिश्चित करने के लिए आदेश जारी करने जा रहे हैं। लेकिन महिला अधिकार कार्यकर्ताओं को अंदेशा है कि रिपब्लिकन शासित राज्य गोलियों को प्रतिबंधित करने का प्रयास कर सकते हैं। अमेरिका के तकरीबन 20 राज्यों में गर्भपात पर रोक लगाने का कानून पारित हो चुका है, या वहां ये प्रक्रिया चल रही है।