कोरबा 31 मार्च 2022 (घटती-घटना)। वन कर्मियों की हड़ताल का असर विभागीय कामकाज पड़ा है. हालात यह कि विभाग स्थानीय लोगों को किराए पर रखकर काम ले रहा है. गर्मी शुरू होने के साथ ही अगलगी की शिकायतें भी बढ़ गई हैढ्ढ जंगल में लगी आग बुझाने के लिए प्रशिक्षित लोगों से काम लिया जा रहा है, इधर कटघोरा वन मंडल में 40 हाथियों का दल विचरण कर रहा है. उन्हें खदेड़ने के लिए भी वन विभाग के पास पर्याप्त कर्मचारी नहीं हैंढ्ढ अधिकारियों का दावा है कि वन प्रबंधन समिति और स्थानीय लोगों की सहायता से आग पर काबू पाने में कामयाब हैं और रूटीन के काम भी चल रहे हैं ढ्ढ कोरबा जिले का कुल क्षेत्रफल 7 लाख 14 हजार 544 हेक्टेयर है, जिसमें से 2 लाख 83 हजार 497 हेक्टेयर वन भूमि है. यह कुल क्षेत्र का 40 फीसदी हिस्सा है ढ्ढ यूं तो कोरबा जिले को बिजली उत्पादन व कोयले की उपलब्धता के कारण देश और दुनिया में पहचाना जाता है, लेकिन प्रदेश की ऊर्जाधानी होने के साथ ही साथ कोरबा अपने समृद्ध वनों के लिए भी अब ख्याति प्राप्त कर रहा है ढ्ढ खासतौर पर कोरबा वन मंडल में आग लगने की शिकायतें ज्यादा सुनाई दे रही हैं ढ्ढ हड़ताल पर बैठे वन कर्मियों का दावा है कि उन्हें रोज स्थानीय लोगों से जंगल में आग की सूचना मिल रही है, इस पर काबू पाना अधिकारियों के वश की बात नहीं है, जबकि दूसरी तरफ वन अधिकारी कह रहे हैं कि स्थानीय लोगों की मदद ली जा रही है।
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