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लखनऊ @ गायत्री प्रजापति समेत तीन को आजीवन कारावास

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दो लाख का जुर्माना भी लगाया


लखनऊ,12 नवम्बर 2021 (ए)। सामूहिक दुष्कर्म के मामले में पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। एमपी एमएलए की विशेष अदालत ने शुक्रवार देर शाम को यह सजा सुनाई। गायत्री के दो अन्य साथियों आशीष शुक्ला व अशोक तिवारी को भी आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। तीनों पर दो लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। विशेष अदालत ने तीनों को धारा 376 डी एवं 5जी/6 पास्को एक्ट में दोषी करार दिया गया है।
कोर्ट ने इसी मामले में आरोपी रहे अमरेंद्र सिंह उर्फ पिंटू सिंह, विकास वर्मा, चंद्रपाल व रुपेश्वर उर्फ रुपेश को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया है। इन सभी के खिलाफ पुलिस ने कोर्ट में चार्जशीट दाखिल किया था। सभी आरोपी जेल में बंद हैं। कोर्ट में सरकारी वकीलों ने बताया कि चित्रकूट की पीडç¸त महिला ने 18 फरवरी, 2017 को लखनऊ के गौतम पल्ली थाने पर रिपोर्ट दर्ज कराई थी। आरोप लगाया था कि सपा सरकार में खनन मंत्री रहे गायत्री प्रजापति समेत सभी आरोपियों ने उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया और उसकी नाबालिग बेटी के साथ भी दुष्कर्म का प्रयास किया।
रिपोर्ट में कहा गया था कि खनन का कार्य दिलाने के लिए आरोपियों ने महिला को लखनऊ बुलाया। इसके बाद कई जगहों पर उसके साथ दुष्कर्म किया गया। महिला का आरोप है कि उसने घटना की विस्तृत रिपोर्ट पुलिस महानिदेशक को सौंपी लेकिन कोई कार्रवाई न होने पर सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दाखिल की। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने आरोपियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करने का आदेश दिया था।
इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ ने गायत्री की उस याचिका को खारिज कर दिया था, जिसमें बचाव साक्ष्य पेश करने की अर्जी को ट्रायल कोर्ट से खारिज किए जाने के आदेश को चुनौती दी गई थी। न्यायमूर्ति रमेश सिन्हा ने यह आदेश गायत्री के बेटे अनिल के जरिए सीआरपीसी की धारा 482 के तहत दायर याचिका पर दिया। याचिका में एमपी-एमएलए न्यायालय के उस आदेश को चुनौती दी गई थी, जिसमें बचाव साक्ष्य पेश करने की अर्जी को खारिज कर दिया गया था। उधर, राज्य सरकार की तरफ से अपर महाधिवक्ता विनोद कुमार शाही ने याचिका का विरोध किया। अदालत ने याचिका को मेरिट विहीन करार देकर खारिज कर दिया।


गायत्री को आजीवन कारावास से अमेठी में सन्नाटा


सपा सरकार के सबसे ताकतवर मंत्री रहे गायत्री प्रसाद प्रजापति को गैंगरेप के मामले में शुक्रवार को कोर्ट द्वारा आजीवन कारावास सुनाए जाने के बाद अमेठी में सन्नाटा पसर गया। कोर्ट द्वारा दोषी ठहराए गए गायत्री के दोनों करीबियों को भी आजीवन कारावास हुआ है। कोर्ट का फैसला सार्वजनिक होने के बाद जहां उनके घर पर सन्नाटा पसर गया वहीं उनके समर्थकों में भी निराशा फैल गई है।
दो दिन पूर्व एमपीएमलए कोर्ट द्वारा गैंगरेप व पॉस्को एक्ट के मामले में दोषी ठहराए गए पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति को कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। शुक्रवार देर शाम कोर्ट का फैसला सार्वजनिक हुआ तो अमेठी विधान सभा क्षेत्र के सभी कस्बों व गांवों में एकबारगी लोगों को काठ मार गया। लोगों को यकीन नहीं हो रहा था कि कोर्ट पूर्व मंत्री को इतनी कड़ी सजा सुना सकती है। जैसे ही पूर्व मंत्री को सजा की खबर सार्वजनिक हुई लोगों ने अपने परिचितों से इसके बारे में विस्तृत जानकारी जुटानी शुरू की। कोर्ट का फैसला सुनने के बाद उनके समर्थक निराशा के गहरे सागर में डूब गए हैं। मंत्री को सुनाई गई सजा का उनके समर्थक व विरोधी अपने तरीके से विश्लेषण करते नजर आए।
समर्थकों का कहना था कि मंत्री ने अमतेठी के लोगों के लिए हमेशा अच्छा ही किया। लोगों की दिल खोलकर मदद की। मदद करते समय किसी का जाति व धर्म नहीं पूंछा। अपने लोगों के लिए पूर्व मंत्री के मन में कितना सम्मान था लोग इसके उदाहरण गिनाते रहे। लोगों की बातों पर यकीन करें तो गायत्री को आजीवन करावास की सजा होने के बाद क्षेत्र के उन सैकड़ों घरों में चूल्हे नहीं जले जिनकी रोजी रोटी पूर्व मंत्री की कृपा पर चल रही थी। गायत्री को दोषी ठहराए जाने के दिन से ही उनके आवास विकास स्थित घर व कार्यालय में ताला बंद है। आवास पर यह बताने वाला भी कोई नहीं था कि पूर्व मंत्री के परिवार के अन्य सदस्य कहां हैं।


अशोक ने भी बनाई करोड़ों की प्रापर्टी


पूर्व मंत्री के साथ जिस अशोक तिवारी को आजीवन कारावास की सुनाई गई वह लेखपाल (मार्च 2017 में जेल जाने के बाद से निलंबित) है। अंबेडकर नगर का रहने वाला व अमेठी में तैनात रहा यह लेखपाल शुरू से ही गायत्री का करीबी था। गायत्री विधायक व बाद में मंत्री बने तो अशोक को अपने साथ लखनऊ ले गए। बाद में अशोक भी गायत्री के साथ गैंगरेप के मामले में फंस गया और शुक्रवार को उसे भी आजीवन कारावास की सजा सुना दी गई। अमेठी में तैनाती व गायत्री का करीबी बनने के बाद अशोक ने भी अकूत संपत्ति बनाई। लोगों की बातों पर यकीन करें तो अशोक के पास अमेठी में शॉपिंग कांप्लेक्स व मकान के अलावा काफी चल अचल संपत्ति है।


टीवी पर टकटकी लगाए रहे लोग


पूर्व मंत्री को कोर्ट क्या सजा सुनाती है इसे देखने के लिए शुक्रवार को लोग टीवी पर टकटकी लगाए बैठे रहे। जैसे ही गायत्री को सजा सुनाए जाने की खबर पता चली लोगों में गायत्री के कार्यकाल में हुए विकास कार्यों व अन्य गतिविधियों पर चर्चाशुरू हो गई।


होगी अग्रिम कार्रवाई :डीएम


लगातार निलंबित चल रहे अशोक तिवारी को सजा सुनाए जाने के बाद जल्द ही उनके खिलाफ अन्य कड़ी कार्रवाई हो सकती है। डीएम अरुण कुमार ने बताया कि शनिवार को पूरे मामले की जानकारी की जाएगी। कोर्ट का आदेश मिलने के बाद लेखपाल के खिलाफ अग्रिम विभागीय कार्रवाई की जाएगी।


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